सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है कि कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में दुष्कर्म और हत्या मामले में पीड़ित महिला डॉक्टर के नाम, तस्वीरें और वीडियो सभी सोशल मीडिया मंचों से हटा दिए जाएं। मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डी.वाई. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि यौन उत्पीड़न के शिकार व्यक्ति की पहचान को सार्वजनिक करना शीर्ष कोर्ट के पहले के आदेशों का उल्लंघन है।
पीठ ने कहा, हमें निषेधाज्ञा इसलिए जारी करनी पड़ी है, क्योंकि सोशल मीडिया और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में मृतक की पहचान और शव की तस्वीरों को सार्वजनिक किया गया है। कोर्ट ने आदेश दिया कि इस घटना में मृतक का नाम, तस्वीरें और वीडियो क्लिप को तुरंत सभी सोशल मीडिया मंचों से हटा दिया जाए।
मृतका का नाम और तस्वीरें,शव की फ़ोटो फेसबुक, इंस्टाग्राम, यूट्यूब और एक्स जैसे मंचों पर फैल गई हैं। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मृतक की तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित हुई हैं, जो बेहद चिंताजनक और गलत है। कोर्ट ने कहा कि दुष्कर्म पीड़ित के नाम और फ़ोटो को सार्वजनिक नहीं किया जा सकता,